कन्हैया की चार्जशीट पर जल्द लो फैसला-अरविंद केजरीवाल


दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने केजरीवाल सरकार को खत लिखकर जवाहरलाल नेहरू यूनिवर्सिटी (JNU) के पूर्व छात्र संघ अध्यक्ष और सीपीआई नेता कन्हैया कुमार समेत अन्य के खिलाफ राजद्रोह का मुकदमा चलाने की मंजूरी मांगी है. हालांकि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का कहना है कि जेएनयू छात्र संघ के पूर्व अध्यक्ष कन्हैया कुमार के नारेबाजी के मामले पर फैसला लेना उनके अधिकार क्षेत्र में नहीं आता है, लेकिन वो इस पर जल्द फैसला लेने के लिए लीगल डिपार्टमेंट से कहेंगे.


दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने जेएनयू में देश-विरोधी नारेबाजी के कथित मामले में पिछले साल जनवरी में कन्हैया कुमार समेत अन्य के खिलाफ पटियाला हाउस कोर्ट में चार्जशीट दायर किया था. तब दिल्ली पुलिस को कोर्ट ने फटकार लगाई थी और कहा था कि जब तक दिल्ली सरकार चार्जशीट दायर करने की मंजूरी नहीं देती है, तब तक इस मामले की कार्यवाही को आगे नहीं बढ़ाया जा सकता है. इस मामले में दिल्ली पुलिस ने कन्हैया कुमार के खिलाफ राजद्रोह का मामला दर्ज किया है.


दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने केजरीवाल सरकार को लिखे खत में कहा कि 19 फरवरी 2020 को पटियाला हाउस कोर्ट के चीफ मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट पुरुषोत्तम पाठक के समक्ष मामले की सुनवाई होनी थी, लेकिन दिल्ली सरकार की मंजूरी नहीं मिलने के चलते कार्यवाही आगे नहीं बढ़ पाई.


कोर्ट ने दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल को आदेश दिया कि वो दिल्ली सरकार को खत लिखकर रुख साफ करने के लिए कहे, ताकि मामले की कार्यवाही को आगे बढ़ाया जा सके. दिल्ली सरकार की पहली कैबिनेट बैठक के बाद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने कहा कि कन्हैया के मामले में चार्जशीट को मंजूरी देना या न देना मेरे अधिकार क्षेत्र में नहीं आता है. यह एक स्वतंत्र और अलग विभाग का मामला है.


हालांकि इसके बावजूद हम संबंधित विभाग से कहेंगे कि वह जल्द ही इस पर फैसला ले. दरअसल, देशद्रोह के मामले में दंड प्रक्रिया संहिता यानी सीआरपीसी की धारा 196 के तहत जब तक दिल्ली सरकार मंजूरी नहीं दे देती है, तब तक कोर्ट दिल्ली पुलिस की चार्जशीट पर संज्ञान नहीं ले सकती. लिहाजा कन्हैया कुमार के खिलाफ राजद्रोह का केस चलाने के लिए दिल्ली सरकार की मंजूरी अनिवार्य है.